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हाई बीपी के कारण: साइलेंट किलर क्यों कहा जाता है?

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Table of Contents

आपने कभी न कभी तो अपने जीवन में हाई बीपी का नाम सुना ही होगा, चाहे वो आपके माता-पिता के मुँह से हो या दादा-दादी। बहुत लोग यह समझते है की हाई बीपी बुज़ुर्गो को होने वाली बीमारी है, लेकिन आजकल की इस भाग-दौड़ भरी ज़िन्दगी में ऐसा ज़रूरी नहीं है।  हाई बीपी के प्रमुख कारण कई हैं, जैसे तनाव, गलत खानपान और नियमित शारीरिक गतिविधि की कमी आदि। 

इस आर्टिकल में हम यह जानेंगे की हाई बीपी को साइलेंट किलर क्यों जाता है, इसके कारण, इलाज, और कैसे एक हेल्थ इंश्योरेंस आपकी मदद कर सकता है। 

हाई बीपी क्या है और इसे साइलेंट किलर क्यों कहा जाता है?

हाई बीपी एक ऐसी स्थिति है, जिसमें आपका ब्लड प्रेशर सामान्य से अधिक हो जाता है। जब दिल ब्लड को arteries में पंप करता है, तो वह एक दबाव उत्पन्न करता है, जिसे हम ब्लड प्रेशर कहते हैं। यदि यह दबाव निरंतर अधिक रहता है, तो इसे हाई बीपी कहा जाता है।

क्या आपको पता है, हाई बीपी को अक्सर “साइलेंट किलर” कहा जाता है। यह इसलिए, क्योंकि इसके कोई खास लक्षण नहीं होते। यह बीमारी बिना किसी चेतावनी के हमारे शरीर में आ जाती है और धीरे-धीरे हमारे महत्वपूर्ण अंगों को नुकसान पहुंचाता है, जैसे कि हृदय, गुर्दे, और मस्तिष्क।

हाई बीपी के प्रमुख कारण

हालाँकि बीमारियां अक्सर बिना बताये ही आती है, लेकिन क्या आपने कभी सोचा है कि आपकी लाइफस्टाइल भी एक वजह हो सकती है। आइये हम हाई बीपी के प्रमुख कारण देखे जो आजकल लोगों लाइफस्टाइल का एक आम हिस्सा है।  

  • खराब जीवनशैली: अत्यधिक तनाव, असंतुलित डाइट, और शारीरिक गतिविधि की कमी हाई बीपी के प्रमुख कारण हैं। आजकल के खानपान में नमक और फैट की मात्रा ज़्यादा हो गई है, जो ब्लड प्रेशर को बढ़ाने में मदद करती है।
  • धूम्रपान और शराब का सेवन: धूम्रपान और शराब का सेवन हाई बीपी के प्रमुख कारण होते हैं, क्योंकि ये blood vessels को सिकोड़ते हैं, जिससे ब्लड प्रेशर बढ़ जाता है।
  • वजन बढ़ना: अगर आप जंक या processed फ़ूड आइटम्स का ज़्यादा सेवन करते है, तोह इससे आपका वजन बढ़ सकता है। अत्यधिक वजन, खासकर पेट के आसपास की चर्बी, भी हाई बीपी के प्रमुख कारण हैं। यह दिल पर अतिरिक्त दबाव डालता है और ब्लड प्रेशर को बढ़ा सकता है।
  • जेनेटिक्स और फैमिली हिस्ट्री: अगर आपके परिवार में किसी को हाई बीपी है, तो आपको भी इस समस्या का खतरा हो सकता है।

हाई बीपी का इलाज

ऐसा नहीं है की अगर आपको हाई बीपी है, तो इसका इलाज संभव नहीं। Medical science ने हमारे देश में बहुत तरक्की कर ली, और आजकल हर लगभग हर बीमारी का इलाज संभव है।  

हाई बीपी का इलाज आपकी लाइफस्टाइल और उपचार के समय पर निर्भर करता है।

  • संतुलित डाइट: एक संतुलित और स्वस्थ डाइट, जिसमें फलों, सब्जियों, और कम सोडियम वाले फ़ूड आइटम्स की अधिकता हो, ब्लड प्रेशर को नियंत्रित करने में मदद कर सकता है।
  • व्यायाम: नियमित शारीरिक व्यायाम हाई बीपी को नियंत्रित करने में मदद करता है। यह ब्लड प्रेशर को सामान्य बनाए रखने में सहायक है।
  • तनाव कम करना: मानसिक तनाव भी हाई बीपी के प्रमुख कारण है। तनाव को कम करने के लिए योग, प्राणायाम और ध्यान करना फायदेमंद हो सकता है।
  • दवाइयां: यदि जीवनशैली में सुधार से आपका हाई बीपी नियंत्रित नहीं होता, तो डॉक्टर दवाइयाँ prescribe कर सकते हैं, जो ब्लड प्रेशर को कम करती हैं।

हाई बीपी से जुड़ी Financial Pressure 

हाई बीपी केवल स्वास्थ्य पर असर नहीं डालता, बल्कि यह financial burden भी बन सकता है। उपचार, डॉक्टर की फीस, दवाइयाँ, और अस्पताल में भर्ती होने की स्थिति में खर्च बढ़ जाता है। इसके अलावा, अगर हाई बीपी के कारण आपको कोई गंभीर समस्या जैसे दिल का दौरा या स्ट्रोक का सामना करना पड़े, तो इलाज की लागत और भी बढ़ सकती है। इस स्थिति में  इंश्योरेंस का बहुत महत्व है। 

एक अच्छा हेल्थ प्लान आपके मुश्किल वक़्त में आपके साथी की तरह आपका साथ देता है और आपका financial security भी प्रदान करता है। यदि आपको हाई बीपी जैसी स्थिति है, तो सही हेल्थ प्लान लेने से आपके अस्पताल में भर्ती, दवाइयों और बाकी मेडिकल खर्चों कवर हो जाते है।

हाई बीपी वाले मरीजों के लिए सही Mediclaim कैसे चुनें

आजकल मार्केट में बहुत सारे बीमा कंपनी है, जो यह दावा करती है कि उनका इंश्योरेंस प्लान अच्छा है। ऐसे में एक सही  इंश्योरेंस चुनने के लिए, यह निम्नलिखित फैक्टर्स का ध्यान रखें:

  • कवर की सीमा: ऐसे प्लान का चयन करें, जो आपके उपचार की कुल लागत को कवर करता हो।
  • वेटिंग पीरियड: सुनिश्चित करें कि आपका इंश्योरेंस पहले से मौजूद बीमारियों को जल्द से जल्द कवर करे। साथ ही इसके वेटिंग पीरियड पर ध्यान देना न भूलें। 
  • रोग से संबंधित विशेष उपचार: कुछ योजनाएं हाई बीपी और उससे संबंधित बीमारियों के लिए विशेष रूप से कवर प्रदान करती हैं।
  • कैशलेस सुविधा: एक हेल्थ प्लान योजना में कैशलेस सुविधा होना जरूरी है ताकि आपको अस्पताल में भर्ती होने पर भुगतान की चिंता न हो।

निष्कर्ष

हमें हाई बीपी के प्रमुख कारण और उसके प्रभावों के बारे में समझना बेहद जरूरी है। यह न केवल हमारे स्वास्थ्य को प्रभावित करता है, बल्कि हमारे financial situation को भी संकट में डाल सकता है।  इंश्योरेंस लेने से हम इस financial pressure को काफी हद तक कम कर सकते हैं।

अगर आप हाई बीपी के मरीज हैं या आपको Mediclaim लेने का विचार है, तो निवा बूपा आपके लिए एक बेहतरीन विकल्प हो सकता है। निवा बूपा की योजनाएं आपको स्वास्थ्य संबंधी समस्याओं के लिए बेहतरीन कवरेज और financial security  प्रदान करती हैं। निवा बूपा के पास कई इंश्योरेंस प्लान्स है, जैसे maternity insurance, फैमिली इंश्योरेंस,आदि। आप अपनी ज़रूरत के अनुसार इंश्योरेंस प्लान चुन सकते है और बिना किसी चिंता के इलाज की सुविधाएं प्राप्त कर सकते हैं।